डायबिटीज में ग्रीन टी कितनी बार पीनी चाहिए?
आज के समय में ग्रीन टी को एक सुपरड्रिंक माना जाता है। लेकिन यदि आपको डायबिटीज
इस विषय पर हमने बात की प्राकृतिक चिकित्सा विशेषज्ञ डॉ. सुनंदा साहू (BNYS) से, जो वर्षों से डायबिटिक मरीजों को आयुर्वेदिक और नेचुरोपैथी माध्यम से उपचार देती आ रही हैं।
क्या ग्रीन टी डायबिटीज में फायदेमंद है?
डॉ. साहू बताती हैं कि ग्रीन टी में मौजूद पॉलीफेनोल्स और एंटीऑक्सिडेंट शरीर में सूजन को कम करते हैं और इंसुलिन सेंसिटिविटी को बढ़ाते हैं। यह ब्लड शुगर लेवल को संतुलित रखने में सहायक होती है।
साथ ही, इसमें कोई कैलोरी नहीं होती और यह मेटाबॉलिज़्म को बेहतर बनाती है – जिससे मोटापा भी कंट्रोल में रहता है, जो डायबिटीज का एक मुख्य कारण है।
दिन में कितनी बार ग्रीन टी पीनी चाहिए?
- सुबह खाली पेट: 1 कप गुनगुनी ग्रीन टी – मेटाबॉलिज्म एक्टिव करने के लिए।
- दोपहर खाने के बाद: 1 कप – डाइजेशन और शुगर लेवल बैलेंस करने के लिए।
- शाम को हल्के स्नैक्स के बाद: 1 कप – क्रेविंग को कंट्रोल करने और शरीर को शांत रखने के लिए।
⇒ कुल: दिन में 2 से 3 कप ग्रीन टी पर्याप्त है। इससे ज्यादा लेने से शरीर में एसिडिटी या थकान जैसी समस्या हो सकती है।
कौन-सी ग्रीन टी चुनें?
डॉ. साहू सलाह देती हैं कि डायबिटिक मरीजों को शुद्ध ऑर्गेनिक ग्रीन टी लेनी चाहिए जिसमें कोई फ्लेवरिंग या शुगर न हो। तुलसी, दालचीनी या गुड़मार पत्ती से बनी हर्बल ग्रीन टी भी बेहद असरदार मानी जाती है।
ग्रीन टी कैसे बनाएं?
ग्रीन टी को बहुत तेज गर्म पानी में उबालने की जरूरत नहीं होती।
- 1 कप पानी को सिर्फ गर्म करें (उबालें नहीं)
- 1 टीबैग या आधा चम्मच ग्रीन टी डालें
- 2 से 3 मिनट ढककर रखें और फिर छानकर पी लें
कब न पिएं ग्रीन टी?
- खाली पेट ज्यादा मात्रा में न लें – गैस/एसिडिटी हो सकती है
- रात को देर से पीना नींद में बाधा डाल सकता है
- जिन्हें एनीमिया है उन्हें सीमित मात्रा में लेना चाहिए
निष्कर्ष
डायबिटीज में ग्रीन टी एक प्राकृतिक और प्रभावी उपाय है, लेकिन संतुलन जरूरी है। दिन में 2–3 बार सही समय पर, सही मात्रा में पीने से ब्लड शुगर के स्तर को बेहतर बनाने में मदद मिलती है।
BNYS डॉक्टर डॉ. सुनंदा साहू का कहना है: “ग्रीन टी कोई जादुई दवा नहीं, लेकिन यह एक ऐसा सहायक पेय है जो सही आदतों के साथ मिलकर शुगर को कंट्रोल करने में बड़ा योगदान दे सकता है।” © 2025 | जानकारी स्रोत: Dr. Sunanda Sahu, BNYS | यह लेख केवल जन-सूचना हेतु है, कृपया व्यक्तिगत स्वास्थ्य सलाह के लिए डॉक्टर से संपर्क करें।